मार्गदर्शक हमें जीवन में मुसीबत के वक्त अच्छी सलाह देते हैं ,जिससे हिम्मत मिलती है|
सफलता के गुण हम उनके सानिध्य में रहकर सीखते हैं| कई लोग होते हैं, जो सफल लोगों के साथ जुड़ जाते हैं ,उन्हें पारितोषिक की भी चिंता नहीं होती , आगे चलकर अपने को उसी गुण से लैस करके जीवन में सफलता हासिल करते हैं | जमना लाल बजाज, (बजाज ग्रुप के संस्थापक) गांधीजी के प्रभाव में आकर उनसे जुड़ गए थे | अच्छा मार्गदर्शक, जीवन में मिलना आसान नहीं है | एक अच्छा मार्गदर्शक कैसा हो ? वह पढ़ा लिखा , तजुर्बेगार , तथा जीवन के कठिनाइयों को सफलतापूर्वक पार करने वाला व्यक्ति हो सकता है| अच्छा मार्गदर्शक हमारा दोस्त रिश्तेदार, पारिवारिक मित्र ,गुरु या जान पहचान वाला भी हो सकता है| एक सफल व्यक्ति हमारा मार्गदर्शक बने यह भी हर समय मुमकिन नहीं है| एकलव्य
को गुरु द्रोणाचार्य ने स्वीकार नहीं किया था लेकिन एकलव्य ने द्रोणाचार्य को ही आदर्श मानकर, अपने आप को धनुष विद्या सीखा ली | मार्गदर्शक से हर बात पर हम सलाह ले यह भी ठीक नहीं है क्योंकि अपनी सोच का भी इस्तेमाल करना जरूरी है | हम अपने जीवन में लिए गये अनुभवों , से भी बहुत कुछ सीख सकते हैं | आज के व्यस्त माहौल में अच्छा मार्गदर्शक मिलना भी कठिन है | हम अपने विश्लेषण की ताकत तथा प्राकृतिक रूप से भी ज्ञान अर्जित कर सकते हैं|
मार्गदर्शक कैसे खोजें
अंग्रेजी में एक कहावत है| “आदमी अपनी संगत से जाना जाता है| “
एक और कहावत है- “एक बेवकूफ दोस्त से बुद्धिमान दुश्मन अच्छा है ” |
आज के दौर में इन कहावतों का महत्व और भी बढ़ जाता है | आजकल ,कई युवा गलत संगत में पड़कर, मार्ग से भटक जाते हैं, जिससे उन पर और घर वालों पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ता है|
कुछ दोस्त जीवन में हमें खुशियां तथा अच्छी सलाह देकर कठिनाइयों से बचाते हैं, लेकिन कुछ दोस्त हमें अज्ञानता वश या स्वभाव के कारण बुरी आदतों की तरफ ले जाते है, इसलिए अपने लिए अच्छी सोच वाले मित्र ढूंढ़ना जरूरी है| पहले के ज़माने में गुरुओं तथा संतों के मार्गदर्शन से लोग लाभान्वित होते थे ,आज के समय में, कई चीजें ऐसी हैं जो हम स्कूल, कॉलेज, दोस्त तथा अपने माँ बाप से भी सीख नहीं सकते|
मार्गदर्शक की मदद ,अतिधनवान लोग भी लेते हैं | बिल गेट्स कई वित्तीय मामलों में वारेन बफेट (स्टॉक मार्किट किंग ) से सलाह लेते हैं| फेसबुक के मालिक “मार्क जुकरबर्ग,”स्टीव जॉब्स, (ऐपल )से मार्गदर्शन लेते थे | पुलेला गोपीचंद् बैटमिंटन कोच के साथ साथ मार्गदर्शक भी है , उन्होंने पी वी सिंधु को बचपन से बैटमिंटन खेलने के लिए प्रोत्साहित किया था | मार्गदर्शकों का हमारे जीवन में महत्वपूर्ण स्थान है |
कुछ उदाहरणो द्वारा अपरोक्ष रूप से मार्गदर्शन हासिल करने पर अब प्रकाश डालूंगा|
एक व्यक्ति स्नातक होने के बाद नौकरी करना चाहता था| जब उसे अपना मनपसंद क्षेत्र में अवसर नहीं मिला,तब उसने कुछ काम करके अनुभव लेने की सोची और एक क्लास (कोचिंग) में नौकरी कर ली | आज के ज़माने में कोचिंग तेजी से उभरता हुआ क्षेत्र है ,जिसमे नौकरी मिलना दूसरे क्षेत्रों के बदले ज्यादा आसान है|
पहले कुछ महीने उसने क्लासेज में बच्चों की देखभाल का जिम्मा उठाया , | विद्यार्थियों की नियमावली देखना,छोटे मोटे हिसाब का ध्यान रखना, नियम से परीक्षाएं करवाना मार्केटिंग देखना(कालिंग करना ), यह उसका कार्य था| धीरे- धीरे उसे सीखाने में भी रूचि होने लगी| टीचरों के सानिध्य में रहकर , उसमे भी सीखने की प्रकृति जागने लगी, उसने अपने मनपसंद विषय “गणित” पर कार्य करना शुरू किया तथा उसके पीछे लग गया| उसने उसमे गहराई से ज्ञान लिया व अभ्यास किया| जब वह पूरी तरह आश्वस्त हो गया की ,विषय ज्ञान में पारंगत है तो साथ साथ अपने खाली समय बच्चों को मुफ्त में गणित सीखाने लगा, कुछ ही वर्षों में उसने बच्चों को आसानी से गणित सीखाने में महारथ हासिल कर ली , कुछ समय बाद उसने अपना कोचिंग सेंटर खोल दिया | ज्ञान उत्सर्जन के बढ़िया तरीकों से वह वाकिफ हो चूका था, उसने अपने इलाके के बेहतरीन क्लास में अनुभव लिया था |सीखाने की पद्धति , क्लास में बच्चों को नियंत्रण में रखना, मार्केटिंग इन महत्वपूर्ण कार्यों को अनुभव से सीख चूका था , इसलिए उसे क्लास को सुचारु ढंग से चलाने में परेशानी नहीं हुई| अपने कार्यकाल के दौरान कोचिंग के मालिक से अनेक बार चर्चा हुई थी जिससे वह लाभान्वित हुआ था |
उनके क्लास में काम करने के लिए उसने न तनखा देखी थी, न समय की पाबन्दी | कोचिंग की दुनिया में जब उसने कदम रखा तो अपने अनुभव तथा निरिक्षण की ताकत से, अपने व्यापार को सफल बनाया| इसमे उसके मार्गदर्शक थे, अपने द्वारा लिए गए अनुभव ….
आगे चलकर हम छोटू शर्मा नामक सफल उद्योगपति की कहानी में इन बातों को यथार्थ रूप से जानेंगे |
जीवन में कई बार जोखिम भी उठाने पड़ते हैं| उस वक्त अपना बुद्धि बल तथा अनुभव यह सबसे अधिक मददगार होते हैं इसलिए उसपर समय समय पर निवेश करना चाहिए|
सफलता पाने के लिए सफल लोगों के गुण अपनाएं अगर आप क्लर्क हैं , तथा मैनेजर बनना चाहते हैं , तो अपने ऑफिस के मैनेजर का बायोडाटा जानें और समझे को उसकी योग्यता , तजुर्बा क्या है उसने कौन से अनोखे कार्य किये, जिससे यह पद उसे मिला|
आवश्यक जानकारी लेने के बाद उस दिशा में आगे बढ़ें तथा अपनी सुविधानुसार वह योग्यता हासिल करें| यह तो निश्चित है की ऐसा करके आप मैनेजर न भी बन पाएं, लेकिन एक वरिष्ठ पद पर पहुंच गए , तो यह एक अच्छी शुरुआत होगी | किताबों से भी हर क्षेत्र में सफल लोगों के बारे में गहराई से पढ़कर , उनके गुण को जान सकते हैं | आज बाजार में ऐसी अनेक किताबें हैं, तो इस बारे में जानकारी लेना फायदेमंद बन सकता है |
मैं अब अपने एक उद्योगपति मित्र के बारे में जिक्र करना चाहूंगा जिनको ” रमेश” बुलाना चाहूंगा | रमेश एक फोटोग्राफर था, कई वर्षों से फोटोग्राफी तथा विडिओ शूटिंग करके जीवन यापन कर रहा था | लेकिन जैसे इंसान की प्रकृति होती है, कुछ बेहतर व नया करने की भावना उसमे भी जागी | कुछ समय बाद “कपडे” (लूम उद्योग )बनाने वाले से पहचान हुई | दोस्ती आगे बढ़ी , तथा वह अपना खाली वक्त , उसके कारखाने में बिताने लगा | धीरे धीरे उस लाइन की बारीकियों को समझने लगा | फिर उसी व्यापार में कूदने का फैसला किया , अपनी सालों की जमा पूंजी लगा दी , अपनी मेहनत तथा कार्यकुशलता से उसका व्यापार चल निकला| आज उसकी बर्फ बनाने की भी फैक्टरी है, साथ ही कपड़ो की एजेंसी भी है | जीवन में आगे बढ़ने के लिए अच्छे दोस्त तथा सफल लोगों की संगत से काफी जानकारियां मिल सकती है, और यह हमें सफल होने में मदद करती है , जरुरत है इसकी महत्ता को समझना | सफलता सिर्फ सोचने से तथा सपने देखने से नहीं आती | अपितु छोटे-छोटे कार्यों से उसकी और कदम बढ़ा सकते हैं |